चंद्रयान-2 चंद्रमा की कक्षा में 20 अगस्त को पहुंच जाएगा। 22 जुलाई को लॉन्च हुए इस मिशन ने इससे पहले 23 दिन पृथ्वी के चक्कर लगाए थे। इसके बाद चंद्रमा की कक्षा में पहुंचने में इसे 6 दिन लगे। चंद्रमा की कक्षा में पहुंचने के बाद यान 13 दिन तक चक्कर लगाएगा। 4 दिन बाद यानी संभवत: 7 सितंबर को वह चांद की सतह पर पहले से निर्धारित जगह पर सॉफ्ट लैंडिंग करेगा। वैज्ञानिकों के मुताबिक, चांद की सतह पर सॉफ्ट लैंडिंग इसरो के लिए इस मिशन की सबसे बड़ी चुनौती होगी, क्योंकि वहां हवा नहीं चलती और गुरुत्वाकर्षण बल भी हर जगह अलग-अलग होता है।
via WORLD NEWS
 
 
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