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Food New York TimesBy BY NIKITA RICHARDSON Via NYT To WORLD NEWS

Tuesday, February 22, 2022

Global Tours Were Key for Orchestras. Then the Pandemic Hit.


Arts New York TimesBy BY JAVIER C. HERNÁNDEZ Via NYT To WORLD NEWS

क्या दवा कंपनियों से गिफ्ट ले सकते हैं डॉक्टर? सुप्रीम कोर्ट ने बताया साफ-साफ

नई दिल्ली: उच्चतम न्यायालय ने मंगलवार को कहा कि दवा कंपनियों की ओर से दवाओं की बिक्री को बढ़ावा देने के लिए डॉक्टरों को मुफ्त उपहार देना कानूनी रूप से निषिद्ध है। इसके साथ ही शीर्ष अदालत ने डॉक्टरों को प्रोत्साहन देने के नाम पर आयकर अधिनियम के तहत कटौती संबंधी कंपनी की याचिका खारिज कर दी। शीर्ष अदालत ने दवा कंपनियों की ओर से डॉक्टरों को दिए जाने वाले मुफ्त उपहारों के एवज में उनके नुस्खे में हेरफेर को ‘बड़े सार्वजनिक महत्व और चिंता का विषय’ करार दिया। इन उपहारों में सोने के सिक्के, फ्रिज और एलसीडी टीवी जैसे उपहारों से लेकर छुट्टियों या चिकित्सा सम्मेलनों में भाग लेने के लिए अंतरराष्ट्रीय यात्राओं के वित्तपोषण तक शामिल हैं। न्यायमूर्ति यू. यू. ललित और न्यायमूर्ति एस रवीन्द्र भट की पीठ ने उच्च न्यायालय के आदेश के खिलाफ मेसर्स एपेक्स लेबोरेट्रीज प्राइवेट लिमिटेड की अपील खारिज कर दी। इतना ही नहीं इसने एक चतुराई से भरे कानूनी मामले का भी निपटारा किया, जहां डॉक्टरों को दिए गए उपहार के मद में कर में कटौती में छूट की मांग की गयी थी। कंपनी ने दलील दी थी कि यद्यपि चिकित्साकर्मियों को इस तरह के उपहार स्वीकार करना कानून के दायरे में प्रतिबंधित है, लेकिन इसे किसी भी कानून के तहत अपराध नहीं ठहराया गया है, इसलिए कंपनियां इन उपहारों पर खर्च की गई रकम के मद में कर लाभ हासिल करने की हकदार हैं। पीठ की ओर से न्यायमूर्ति भट द्वारा लिखित फैसलों में संबंधित कानून एवं नियमों की व्याख्या की गयी है। न्यायालय ने कहा कि दवा कंपनियों द्वारा चिकित्सकों को उपहार देना कानून के दायरे में प्रतिबंधित है और ऐसी स्थिति में आयकर अधिनियम की धारा 37(एक) के तहत कर लाभ नहीं लिया जा सकता है। शीर्ष अदालत ने कहा कि ऐसा करने से यह पूरी तरह से सार्वजनिक नीति को प्रभावित करेगा।

Nalanda Top 5 News : घर का ताला तोड़कर लाखों की चोरी, जानिए नालंदा की 5 बड़ी खबरें


प्रणय राज, नालंदा : बिहार के नालंदा जिले की पहली बड़ी खबर (Nalanda News) की बात करें तो सदर अस्पताल के सीएस कार्यालय में मेडिकल सर्टिफिकेट बनाने के लिए चढ़ावा देना पड़ता है। वहां मेडिकल बनाने के लिए एक अभ्यर्थी से पैसे लेते कर्मी का सोशल मीडिया पर वीडियो तेजी से वायरल हो रहा। 23 फरवरी से शिक्षक नियोजन और बीपीएससी अभ्यर्थियों से नियुक्ति के समय मेडिकल फिटनेस की मांग की गई है। इसी का फायदा उठाकर कर्मी अवैध वसूली में लगे हैं। वहीं शिक्षक बनने की सपना देख रहे नियोजित अभ्यर्थियों को बड़ा झटका शिक्षा विभाग की ओर से लगा है। नालंदा में आगामी 23 फरवरी को जिले के 172 चयनित अभ्यर्थियों को नियुक्ति पत्र नहीं मिलेगा। इनके डॉक्यूमेंट में गड़बड़ी मिली है।

तीसरी खबर इस्लामपुर थाना क्षेत्र के पती बिगहा गांव में श्राद्धकर्म के भोज के दौरान बदमाशों ने फायरिंग कर दहशत फैला दी। चौथी खबर हिलसा थाना क्षेत्र के पटेल नगर की है, जहां चोरों ने घर का ताला तोड़कर लाखों की संपत्ति चोरी कर ली। वहीं प्रशासन के लाख प्रयास के बाद भी शराब का धंधा थमने का नाम नहीं ले रहा है। पुलिस ने एक शराबी, शराब बेचते धंधेबाज समेत 3 को पकड़ा है।


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Jamshedpur Top 5 News : जमशेदपुर में कोरोना के कितने केस...SSP की बैठक, जिले की 5 बड़ी खबरें


रवि झा, जमशेदपुर : झारखंड के जमशेदपुर की पांच बड़ी खबरों की बात करें तो सबसे पहली खबर (Jamshedpur News) कोरोना संक्रमण से जुड़ी हुई। शहर में मंगलवार को कोरोना के दो केस (Corona Cases in Jamshedpur) सामने आए। जिला प्रशासन से मिली जानकारी अनुसार अभी भी 111 लोग इलाजरत हैं, 7 लोगों को मंगलवार को छुट्टी दी गई। जमशेदपुर में बढ़ती आपराधिक घटनाओं को रोकने के उद्देश्य से एसएसपी डॉ तमिल वाणन ने डीएसपी और थाना प्रभारी के साथ बैठक की। साकची बाजार में दुकान लगाने वाले फुटपाथ दुकानदार अपनी मांगो को लेकर उपायुक्त कार्यलय में प्रदर्शन किया। टाटा स्टील के संस्थापक जमशेदजी नसरवानजी टाटा की जयंती 3 मार्च को लेकर शहर को सजाने का अंतिम चरण में है। जमशेदपुर की समाजिक संस्था भोजपुरी नव चेतना मंच के भोजपुरिया क्रिकेट लीग (BCL) का आयोजन करने जा रही है।


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‘Encanto’ Soundtrack Continues to Dominate Billboard Charts


Arts New York TimesBy BY BEN SISARIO Via NYT To WORLD NEWS

'यूरोप निश्चिंत हो न बैठे, उस तक भी पहुंच सकती है आंच...', चीन की तरफ इशारा कर जयशंकर ने सुना दी खरी-खरी

नई दिल्ली: विदेश मंत्री एस जयशंकर (EAM S Jaishankar) ने हिंद प्रशांत क्षेत्र की चुनौतियों (Indo-Pacific Challenges) का उल्लेख करने के साथ ही मंगलवार को यूरोप को आगाह किया। उन्‍होंने कहा कि इस क्षेत्र में पेश आ रही चुनौतियों की आंच (Jaishankar warns Europe) उस तक भी पहुंच सकती है। यूरोप केवल यह सोच कर निश्चि‍ंंत नहीं हो सकता कि वह बहुत दूर है तो सुरक्षित है। उन्होंने ऐसे में इन चुनौतियों से सामूहिक रूप से निपटने की जरूरत को रेखांकित किया। जयशंकर ने किसी देश का नाम लिए बिना कहा कि असीम शक्ति एवं मजबूत क्षमता के साथ ‘जिम्मेदारी एवं संयम’ होना जरूरी है। उन्होंने कहा कि यह भी सुनिश्चित किया जाना चाहिए कि अर्थव्यवस्था दबाव और राजनीतिक बल प्रयोग के खतरों से मुक्त रहे। समझा जाता है कि विदेश मंत्री का परोक्ष संदर्भ हिंंद प्रशांत क्षेत्र में चीन की बढ़ती आक्रामकता से है। हिंंद प्रशांत पर यूरोपीय संघ (ईयू) के मंत्री स्तरीय मंच को संबोधित करते हुए जयशंकर ने 27 देशों के समूह को सचेत किया कि क्षेत्र में पेश आ रही चुनौतियां यूरोप तक भी पहुंच सकती हैं क्योंकि केवल इन चुनौतियों से दूर स्थित होना, इससे कोई बचाव नहीं है। उन्होंने क्षेत्र की चुनौतियों से सामूहिक रूप से निपटने के महत्व को रेखांकित किया । विदेश मंत्री जयशंकर ने कहा कि इस मंच की मेजबानी ऐसे समय में हो रही है जब यूरोप गंभीर संकट (यूक्रेन में) का सामना कर रहा है और यह हिन्द प्रशांत क्षेत्र के यूरोपीय संघ से जुड़ाव के महत्व को रेखांकित करता है। यूरोपीय संघ सहित कई अन्य देशों के शीर्ष नेतृत्व की मौजूदगी में उन्होंने कहा, ‘हिन्द प्रशांत बहु ध्रुवीय एवं पुन: संतुलन आधारित व्यवस्था का केंद्र है जो समकालीन बदलाव को रेखांकित करता है।’ हिन्द प्रशांत क्षेत्र के महत्व को रेखांकित करते हुए जयशंकर ने कहा कि यह जरूरी है कि वृहद शक्ति एवं मजबूत क्षमता के साथ जिम्मेदारी एवं संयम आए। उन्होंने कहा, ‘इसका मतलब अंतरराष्ट्रीय कानून, क्षेत्रीय अखंडता एवं सम्प्रभुता का सम्मान है।’ जयशंकर ने कहा, ‘इसका अर्थ अर्थव्यवस्था को दबाव से मुक्त और राजनीति को बल प्रयोग के खतरों से मुक्त बनाना है। इसका आशय वैश्विक नियमों एवं चलन का पालन करना तथा वैश्विक स्तर पर साझी चीजों पर दावा करने से बचना है।’ उन्होंने कहा कि आज हम उन चुनौतियों को स्पष्ट रूप से देख सकते हैं और विश्वास करें कि इसमें दूरी कोई बचाव नहीं है। जयशंकर ने कहा, ‘हिन्द प्रशांत क्षेत्र में हम जिन चुनौतियों का सामना कर रहे हैं, वह बढ़कर यूरोप तक जा सकती है। इसलिए हम क्षेत्र की सुरक्षा में योगदान को लेकर यूरोपीय संघ की प्रतिबद्धता का स्वागत करते हैं।’ उन्होंने कहा कि यह नौवहन शताब्दी है और हिन्द प्रशांत क्षेत्र का ज्वार निश्चित तौर पर उसके भविष्य को आकार देने में मदद करेगा। विदेश मंत्री ने कहा कि यूरोपीय संघ की दृष्टि खुला, मुक्त, संतुलित एवं समावेशी हिन्द प्रशांत एवं आसियान की केंद्रीयता की भारत की दृष्टि के अनुरूप है। जयशंकर ने कहा कि भारत का रूख व्यापक है और इसमें बहुपक्षीयता, बहुलतावाद और सामूहिक कार्य पर जोर दिया गया है तथा ये हिन्द प्रशांत सागर में निहित हैं। उन्होंने कहा कि विश्व मामलों को आकार देने में यूरोप के व्यापक योगदान की भारत सराहना करता है। उन्होंने कहा कि हमारे वार्षिक शिखर बैठकों के जरिये हमने ईयू भारत सामरिक गठजोड़ को काफी मजबूत बनाया है तथा फ्रांस इस सामरिक भूगोल के महत्व को समझने वाले पहले कुछ देशों में शामिल था। हिन्द प्रशांत के संबंध में जयशंकर ने कहा कि साझे मूल्यों और सोच पर आधारित देश साथ काम करने के लिये बेहतर क्षेत्रीय संस्कृति सुनिश्चित कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि इनमें एक महत्वपूर्ण बात यह है कि आकार से परे सभी देश सम्प्रभु विकल्प और पसंद रख सकते हैं और यह हमारे साझा प्रयासों का सार है। जर्मनी की दो दिवसीय यात्रा के बाद जयशंकर तीन दिवसीय दौरे पर रविवार को फ्रांस पहुंचे। फ्रांस ने हिन्द प्रशांत पर यूरोपीय संघ (ईयू) मंत्रिस्तरीय मंच की मेजबानी की है।